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अभिधामूल व्यंजना का विस्तृत विवरण
अभिधामूल व्यंजना का विस्तृत विवरण अभिधामूल व्यंजना का विस्तृत विवरण: "सशङ्खचक्रो हरिः' इति शङ्खचक्रयोगेन हर…
अभिधामूल व्यंजना का विस्तृत विवरण अभिधामूल व्यंजना का विस्तृत विवरण: "सशङ्खचक्रो हरिः' इति शङ्खचक्रयोगेन हर…
लक्षणा का विस्तार लक्षणा का विस्तार: "सा शब्दस्यार्पिता स्वाभाविकेतरा ईश्वरानुद्भाविता वा शक्तिर्लक्षणा नाम।&qu…
अभिधा का विस्तार अभिधा का विस्तार: "उत्तमवृद्धेन मध्यमवृद्धमुद्दिश्य 'गामानय' इत्युक्ते तं गवानयनप्रवृत…
महावाक्य और वाक्य के प्रकार महावाक्य और वाक्य के प्रकार: "इत्थं वाक्यं द्विधा मतं।" (सूत्र 2.1) इत्थम् …
यह चित्र संस्कृत काव्यशास्त्र (साहित्य और अलंकारशास्त्र) से प्रेरित है। इसमें प्राचीन भारतीय विद्वानों को एक वट वृक्ष…
यह चित्र "साहित्यदर्पण" से प्रेरित है, जिसमें एक पारंपरिक भारतीय विद्वान को प्राचीन कक्ष में ताड़पत्र पांडु…
यह चित्र संस्कृत काव्यशास्त्र (साहित्य और अलंकारशास्त्र) से प्रेरित है। इसमें प्राचीन भारतीय विद्वानों को एक वट वृक्ष…
यह चित्र "साहित्यदर्पण" से प्रेरित है, जिसमें एक पारंपरिक भारतीय विद्वान को प्राचीन कक्ष में ताड़पत्र पांडुलि…
यह चित्र संस्कृत काव्यशास्त्र (साहित्य और अलंकारशास्त्र) से प्रेरित है। इसमें प्राचीन भारतीय विद्वानों को एक वट वृक्ष क…
यह चित्र संस्कृत काव्यशास्त्र (साहित्य और अलंकारशास्त्र) से प्रेरित है। इसमें प्राचीन भारतीय विद्वानों को एक वट वृक्ष…
यह चित्र "साहित्यदर्पण" से प्रेरित है, जिसमें एक पारंपरिक भारतीय विद्वान को प्राचीन कक्ष में ताड़पत्र पांडुलि…
यह चित्र "साहित्यदर्पण" से प्रेरित है, जिसमें एक पारंपरिक भारतीय विद्वान को प्राचीन कक्ष में ताड़पत्र पांडुलि…
यह चित्र "साहित्यदर्पण" से प्रेरित है, जिसमें एक पारंपरिक भारतीय विद्वान को प्राचीन कक्ष में ताड़पत्र पांडु…
यह चित्र "साहित्यदर्पण" से प्रेरित है, जिसमें एक पारंपरिक भारतीय विद्वान को प्राचीन कक्ष में ताड़पत्र पांडुलि…
यह चित्र संस्कृत काव्यशास्त्र (साहित्य और अलंकारशास्त्र) से प्रेरित है। इसमें प्राचीन भारतीय विद्वानों को एक वट वृक्ष क…