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संस्कृत व्याकरण, संज्ञा प्रकरण, माहेश्वर सूत्रों का परिचय और विश्लेषण
यह चित्र भगवान शिव को एक पारंपरिक डमरू बजाते हुए दर्शाता है जिससे माहेश्वर सूत्र निकल रहे हैं। शिव को इस दिव्य वाद्यय…
यह चित्र भगवान शिव को एक पारंपरिक डमरू बजाते हुए दर्शाता है जिससे माहेश्वर सूत्र निकल रहे हैं। शिव को इस दिव्य वाद्यय…
कर्म कारक (द्वितीया विभक्ति) कर्म कारक का विस्तृत वर्णन संस्कृत व्याकरण में कर्म कारक उस कारक को कहते हैं जिस पर क्…
कर्ता कारक (प्रथमा विभक्ति) कर्तृ कारक का परिचय संस्कृत व्याकरण में कर्तृ कारक (कर्ता) का प्रमुख स्थान है। यह वाक्य…
कर्ता कारक (Karta Karaka) कर्ता कारक (Karta Karaka) कर्ता कारक संस्कृत व्याकरण में पहला कारक और क्रिया का सबसे महत्…
कारक परिचय कारक की परिभाषा संस्कृत व्याकरण में "कारक" का अर्थ है वह तत्व जो किसी क्रिया (verb) के संपादन में…
विभक्ति परिचय विभक्तियों का विस्तृत वर्णन संस्कृत व्याकरण में विभक्तियाँ संज्ञा, सर्वनाम और विशेषण शब्दों के क्रिया या…
लकार परिचय लकार परिचय संस्कृत व्याकरण में धातु रूप के विभिन्न काल और भावों को व्यक्त करने के लिए जो रूप बनाए जाते हैं…
आशीर्लिङ् लकार (आशीर्वचन/आशीर्वाद और श्राप) आशीर्लिङ् लकार का विस्तृत परिचय आशीर्लिङ् लकार संस्कृत व्याकरण में आशीर…
विधिलिङ् लकार(संभावना, विनम्र आज्ञा, इच्छा, प्रार्थना, या अनुमति) विधिलिङ् लकार का विस्तृत परिचय विधिलिङ् लकार संस्…
लुङ् लकार (भूतकाल) का परिचय लुङ् लकार संस्कृत व्याकरण में भूतकालीन घटनाओं को व्यक्त करने के लिए प्रयुक्त होता है…
लङ् लकार (सामान्य भूतकाल) लङ् लकार (सामान्य भूतकाल) का विस्तृत परिचय लङ् लकार संस्कृत व्याकरण में सामान्य भूतकाल क…
लिट् लकार (परोक्ष भूतकाल) का परिचय: लिट् लकार संस्कृत व्याकरण में परोक्ष भूतकाल को व्यक्त करता है। यह विशेष रूप से…